High cholesterol in Hindi
Medicine in Hindi | Posted by 365Doctor | 26-07-2023 | Comments
क्या हैं हाई कोलेस्ट्रॉल के 5 संकेत? (High cholesterol in Hindi)
हाई कोलेस्ट्रॉल कितनी गंभीर बीमारी है, इसका अदाज़ा द हिंदू नामक समाचार पत्र में छपी खबर से ही लगया जा सकता है।
इसके अनुसार भारत में लगभग 27 प्रतिशत लोग हाई कोलेस्ट्रॉल के शिकार हैं। यह खबर भारत में हाई कोलेस्ट्रॉल की चिंताजनक स्थिति को उजागर करती है।
इसके अलावा, हाई कोलेस्ट्रॉल का समय रहते इलाज न होने पर यह हार्ट अटैक या दिल के दौरे का कारण भी बन सकती है। ऐसे में यह जरूरी है कि लोगों को उच्च कोलेस्ट्रॉल की अधिक से अधिक जानकारी दी जाए ताकि वे अपने और अपने प्रियजनों को इस घातक बीमारी से बचा सकें।
यदि आपको भी इस बीमारी के बारे में अधिक जानकारी नहीं है, तो आपको इस लेख को जरूर पढ़ना चाहिए।
1-क्या है हाई कोलेस्ट्रॉल? (High cholesterol- in Hindi)
2- हाई कोलेस्ट्रॉल के 5 लक्षण क्या हैं? (5 symptoms of High cholesterol-in Hindi)
3- हाई कोलेस्ट्रॉल का इलाज कैसे किया जा सकता है? (How High Cholesterol is treated- in Hindi)
4- हाई कोलेस्ट्रॉल का शरीर पर क्या असर पड़ता है? (Effects of High Cholesterol on human body)
5- हाई कोलेस्ट्रॉल की रोकथाम कैसे करें? (Precautions of high cholesterol-in Hindi)
6- सबसे अधिक पूछे जाने वाले सवाल (FAQ’S)
क्या है हाई कोलेस्ट्रॉल? (High cholesterol- in Hindi)
कॉलेस्ट्रॉल हमारे खून में मौजूद ऐसा सबटांस है, जिसका काम हेल्थी सेल्स का निर्माण करना है।
लेकिन, जब कॉलेस्ट्रॉल की मात्रा खून में अधिक हो जाती है, तो उसे हाई कोलेस्ट्रॉल के नाम से जाना जाता है। इसके अलावा, खून में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा कम होने पर उसे लॉ कोलेस्ट्रॉल कहा जाता है।
हाई कोलेस्ट्रॉल के 5 लक्षण क्या हैं? (5 symptoms of High cholesterol-in Hindi)
आमतौर पर, हाई कोलेस्ट्रॉल के कोई विशिष्ट लक्षण नहीं होते हैं, लेकिन फिर भी कुछ ऐसे लक्षण भी हैं, जो इस बीमारी का कारण बन सकते हैं, इनमें ये 5 लक्षण शामिल हैं-
स्कीन का पीला पड़ना- यह हाई कोलेस्ट्रॉल का प्रमुख लक्षण है, जिसमें व्यक्ति की त्वचा पीली पड़ जाती है।
कुछ लोगों को यह पीलिया का संकेत लग सकता है, लेकिन उन्हें किसी भी नतीजे पर पहुंचने से पहले डॉक्टर से अपना हेल्थचेकअप करना चाहिए और तभी कोई इलाज कराना चाहिए।
सीने में दर्द होना- अगर किसी व्यक्ति के सीने में दर्द रहता है, तो उसे इसे नज़रअदाज़ नहीं करना चाहिए क्योंकि यह हाई कोलेस्ट्रॉल का कारण बन सकता है।
पैर के निचले हिस्से में दर्द होना- हाई कोलेस्ट्रॉल का अन्य लाभ पैर के निचले हिस्से में दर्द होना है।
हो सकता है कि ज्यादातर लोगों को यह थकान का परिणाम लगे, लेकिन उनके लिए डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
कमजोरी महसूस होना- आपने ऐसे कुछ लोगों को देखा होगा, जो थोड़े दौड़ने या काम पर थक जाते हैं।
ऐसा हाई कोलेस्ट्रॉल की वजह से भी हो सकता है,इसीलिए हमें इस चीज़ को नज़रअदाज़ नहीं करना चाहिए और इसकी सूचना डॉक्टर को देनी चाहिए।
दिल की धड़कनों का अबनॉर्मल गति से चलना- अगर किसी व्यक्ति को दिल की धड़कनों के असामान्य गति से चलने की शिकायत रहती है, तो उसे इसे तुंरत डॉक्टर के पास जाकर अपना इलाज करना चाहिए।
हाई कोलेस्ट्रॉल का इलाज कैसे किया जा सकता है? (How High Cholesterol is treated- in Hindi)
यदि समय रहते हाई कोलेस्ट्रॉल पर ध्यान दिया जाए, तो इसका इलाज संभव है। लेकिन, लोगों के उन तरीकों की जानकारी न होने के कारण वे इससे छुटकारा नहीं पा पाते हैं।
यदि किसी व्यक्ति को हाई कोलेस्ट्रॉल की बीमारी है, तो वह निम्नलिखित तरीकों को अपनाकर इसका इलाज कर सकता है-
ब्लड टेस्ट कराना- हाई कोलेस्ट्रॉल के इलाज की शुरूआत ब्लड टेस्ट के साथ होती है।
ब्लड टेस्ट को मुख्य रूप से ब्लड में कोलेस्ट्रर की मात्रा का पता लगाने के लिए किया जाता है।
दवाई लेना- ब्लड टेस्ट के अलावा हाई कोलेस्टॉल का इलाज दवाई लेकर भी संभव है।
ये दवाईयां मानवशरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा में कम करने में सहायता करती हैं।
मेटाबॉलिक सिंड्रोम की जांच करना- अक्सर, हाई कोलेस्ट्रॉल का इलाज मेटाबॉलिक सिंड्रोम की जांच के द्वारा भी किया जाता है।
ऐसा इसलिए किया जाता है, ताकि हाई कोलेस्ट्रॉल का इलाज सही तरीके से किया जा सके।
सप्लीमेंट का इस्तेमाल करना- कई बार,हेल्थी सप्लीमेंट लेना हाई कोलेस्ट्रॉल का इलाज करने का बेहतर विकल्प साबित हो सकता है।
इसी कारण, कुछ डॉक्टर हाई कोलेस्ट्रॉल से पीड़ित लोगों को सप्लीमेंट लेने की सलाह देते हैं।
शुगर टेस्ट कराना– हाई कोलेस्ट्रॉल के कुछ ऐसे मामले भी सामने आते हैं, जिनमें इस बीमारी का कारण शुगर या डायबिटीज होती है।
अत: डायबिटीज से पीड़ित लोगों को अपनी हेल्थ का विशेष ध्यान रखना चाहिए ताकि उन्हें अन्य कोई गंभीर बीमारी न हो।
हाई कोलेस्ट्रॉल का शरीर पर क्या असर पड़ता है? (Effects of High Cholesterol on human body)
हममें से किसी भी व्यक्ति का किसी भी बीमारी को नज़रअदाज़ करना उसके लिए घातक साबित हो सकता है।
यह बात हाई कोलेस्ट्रॉल पर भी लागू होती है,किसी भी व्यक्ति के इसका इलाज न कराने पर यह गंभीर रूप ले सकती है और हाई कोलेस्ट्रॉल का उसके शरीर पर ये 5 असर पड़ सकते हैं-
पेट दर्द होना- हाई कोलेस्ट्रॉल का सबसे बड़ा साइड इफेक्ट पेट दर्द होना है। हालांकि, कई बार यह दवाईयों लेने से ठीक हो जाता है, लेकिन, अगर काफी लंबे समय तक इसमें आराम न हो तो यह किसी गंभीर बीमारी का कारण बन सकता है।
पैरों का सुन्न पड़ना- अक्सर, ऐसा देखा गया है कि हाई कोलेस्ट्रॉल की वजह से कुछ लोगों के पैर सुन्न पड़ जाते हैं।
यदि इसे समय रहते ठीक न किया जाए तो यह गंभीर रूप ले सकती है।
सीने में दर्द होना- अगर किसी व्यक्ति को हाई कोलेस्ट्रॉल है, तो उसे सीने में दर्द हो सकता है,जिसका समय के साथ खराब हो सकता है।
ब्लड फ्लो का कम होना- कई बार,हाई कोलेस्ट्रॉल शरीर में ब्लड फ्लो के कम होने का कारण बन सकता है।
दिल का दौरा पड़ना- चूंकि, हाई कोलेस्ट्रॉल का सीधा असर दिल पर पड़ता है, इसी कारण यह कई बार दिल के दौरे का कारण बन सकता है।
हाई कोलेस्ट्रॉल की रोकथाम कैसे करें? (Precautions of high cholesterol-in Hindi)
हालांकि, हाई कोलेस्ट्रॉल की बीमारी बहुत सारे लोगों में देखने को मिलती है, लेकिन इसके बावजूद किसी भी अन्य बीमारी की तरह हाई कोलेस्ट्रॉल की भी रोकथाम संभव है।
कोई भी व्यक्ति निम्नलिखित कदमों को उठाकर हाई कोलेस्ट्रॉल की रोकथाम कर सकता है-
पौष्टिक भोजन करना- ऐसा माना जाता है कि हमारे खान-पान का हमारी हेल्थ पर सीधा असर पड़ता है।
यह बात हाई कोलेस्ट्रॉल पर भी लागू होती है, इसलिए लोगों को अपने खान-पान पर विशेष ध्यान देना चाहिए और केवल पौष्टिक भोजन ही करना चाहिए।
नियमित रूप से एक्सराइज़ करना- हाई कोलेस्ट्रॉल की रोकथाम करने का सबसे अच्छा तरीका नियमित रूप से एक्सराइज़ करना है।
एक्सराइज़ करने से व्यक्ति की रोग-प्रतिरोधक क्षमता मजबूत रहती है,जो उसे हेल्थी रखने में सहायक साबित हो सकती है।
सही वजन नियंत्रित करना- अधिक वजन को बहुत सारी बीमारियों का कारण माना जाता है।
इसी कारण, सभी लोगों को अपने वजन का विशेष ध्यान रखना चाहिए ताकि उसे किसी तरह की बीमारी होने की संभावना न हो।
धूम्रपान न करना- किसी भी व्यक्ति के लिए धूम्रपान करना काफी नुकसानदायक साबित हो सकता है।
अत: किसी भी व्यक्ति को धूम्रपान नहीं करना चाहिए ताकि वह बेहतर ज़िदगी जी सके।
आज के दौर में, बहुत सारी गंभीर बीमारियां जैसे डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर,किडनी स्टोन इत्यादि फैल रही हैं।
ऐसे में लोग दूसरी बीमारियों जैसे हाई कोलेस्ट्रॉल की ओर ध्यान नहीं देते हैं, जिसकी वजह से उन्हें काफी सारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
यदि लोगों को हाई कोलेस्ट्रॉल की पूरी जानकारी हो, तो वह आसानी से इससे निजात पा सकता है।
इस प्रकार, हमें उम्मीद है कि आपको इस लेख को पढ़कर हाई कोलेस्ट्रॉल की पूरी जानकारी मिल गई होगी।
सबसे अधिक पूछे जाने वाले सवाल (FAQ’S)
Q1. हाई कोलेस्ट्रॉल के लक्षण क्या हैं?
Ans- हाई कोलेस्ट्रॉल होने के संकेतों में मुख्य रूप से चक्कर आना, भूख न लगना, सीने में बाईं ओर दर्द होना, पैरों में दर्द होना इत्यादि शामिल हैं।
Q2. हाई कोलेस्ट्रॉल कितना खतरनाक हो सकता है?
Ans- हर व्यक्ति के लिए कोलेस्ट्रॉल काफी महत्वपूर्ण चीज़ होती है। ऐसे में यदि अपने सामान्य स्तर से अधिक बढ़ जाता है, तो इससे उससे काफी गंभीर बीमारी होने की संभावना भी बढ़ जाती है।
Q3. क्या हाई कोलेस्ट्रॉल को कम किया जा सकता है?
Ans- जी हां, हाई कोलेस्ट्रॉल को कम किया जा सकता है। इसके लिए लोगों को नमक का सेवन कम करना, एक्सराइज़ करना, डॉक्टर के संपर्क में रहना इत्यादि तरीके को अपनाना चाहिए।
Q4. हाई कोलेस्ट्रॉल किस तरह का भोजन करने से होता है?
Ans- हाई कोलेस्ट्रॉल की बीमारी मुख्य रूप से माँस खाने, ज्यादा नमक खाने, फास्ट फूड खाने, मक्खन इत्यादि का सेवन करने से होती है।
Q5. हाई कोलेस्ट्रॉल को कम करने के लिए सुबह का नाश्ता कैसा होना चाहिए?
Ans- हाई कोलेस्ट्रॉल को कम करने के लिए सुबह के नाश्ते में बादाम वाला दूध,आमलेट, संतरे का जूस इत्यादि को शामिल करना चाहिए।
Q6. क्या हाई कोलेस्ट्रॉल स्ट्रेस से होता है?
Ans- आमतौर पर, हाई कोलेस्ट्रॉल सीधे तौर पर स्ट्रेस से नहीं होता है, लेकिन अधिक वजन का होना, बी.पी से पीड़ित होना समेत ऐसे बहुत सारे तत्व हैं, जो हाई कोलेस्ट्रॉल का कारण बनते हैं।
Q7. क्या हाई कोलेस्ट्रॉल से कमज़ोरी महसूस होती है?
Ans- जी नहीं, हाई कोलेस्ट्रॉल से कमज़ोरी महसूस नहीं होती है, लेकिन हाई कोलेस्ट्रॉल से अन्य गंभीर बीमारियाँ जैसे दिल संबंधी बीमारी, फेफड़ों की बीमारी, सांस लेने में तकलीफ़ होना इत्यादि हो सकती हैं।
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